श्रद्धांजलि : नहीं रहे बच्चों के ‘मसालों वाले दादाजी’
News NewsAbtak

श्रद्धांजलि : नहीं रहे बच्चों के ‘मसालों वाले दादाजी’

देश की मशहूर मसाला कंपनी MDH के मालिक महाशय धर्मपाल गुलाटी नहीं रहे हैं। गुरुवार 3 दिसंबर की सुबह 5 बजकर 38 मिनट पर उन्होने 98 वर्ष की उम्र में आखिरी सांस ली। रिपोर्ट्स के मुताबिक 26 नवंबर की सुबह उन्हें दिल का दौरा पड़ा था। बीते 3 हफ्तों से उनका इलाज माता चन्ननदेवी अस्पताल में चल रहा था।

महाशय धर्मपाल गुलाटी का जन्म 27 मार्च 1923 को पाकिस्तान के सियालकोट में हुआ था। भारत-पाकिस्तान के विभाजन के वक्त उनका पूरा परिवार अमृतसर के शर्णार्थी कैंप में रहा। एमडीएच मसालों की नींव महाशय धर्मपाल गुलाटी के पिता महाशय चुन्नीलाल गुलाटी ने रखी थी। धर्मपाल गुलाटी के मसाला कारोबारी बनने के सफर की शुरूआत तांगे के साथ हुई थी। वह अपने चांदनीचौक मे तांगे पर मसाला बेचा करते थे। जिसके बाद उन्होने करोल बाग में अपने मसालों की एक दुकान खोली। 1959 में उन्होने चांदनी चौक में भी एक दुकान किराये पर ले ली। जिसका नाम उन्होने ‘महाशय दी हट्टी’ रखा। कारोबार जबरदस्त रूप से चल पड़ा और वह देश के सबसे बड़े मसाला कारोबारी बन गए।

धर्मपाल गुलाटी को आपने MDH मसालों के कई विज्ञापनों में आना इत्तेफाक था दरअसल एमडीएच मसाले के एक प्रोडक्ट के विज्ञापन की शूटिंग चल रही थी, लेकिन जिस एक्टर को दुल्हन के पिता का रोल निभाना था वह अभिनेता शूटिंग के लिए नहीं पहुंच पाया। जिसके बाद डायरेक्टर ने उन्हें यह आइडिया सुझाया कि वह खुद ही लड़की के पिता का रोल निभा ले। वहीं महाशय जी को लगा कि ऐसा करने से उनके विज्ञापन का बजट कम हो जाएगा और उनके पैसे भी बच जाएंगे।

जिसके बाद महाशय जी खुद ही उस किरदार को निभाने का फैसला किया। इसके बाद तो सिलसिला ऐसा चला कि वह अपनी मसाला कंपनी के हर प्रोडेक्ट के विज्ञापन में नज़र आने लगे। आज उन्हें दुनियाभर में उन्हें ‘मसाला किंग’ के नाम से जाना और पहचाना जाता था। पिछले साल ही उन्हें पद्मभूषण पुरस्कार से सम्मानित किया गया था।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

X